3AC, 2AC, 1AC में क्या होता है अंतर? रोज सफर करने वाले भी नहीं जानते सबसे बड़े फर्क को
रेलवे भारत में जीवनरेखा के रूप में है। हर दिन करोड़ों लोग एक से दूसरे स्थान जाने के लिए भारतीय रेल का सहारा लेते है।
आपको पता ही होगा कि एक ही ट्रेन में रेलवे अलग-अलग कोच के जरिए यात्रियों को कई तरह की सुविधाएं उपलब्ध कराती है।
आमतौर पर ट्रेनों में सबसे अधिक द्वितीय श्रेणी और स्लीपर क्लास के कोच होते है जिसमें सबसे अधिक लोग यात्रा करते है लेकिन लोगों को 1st AC, 2nd AC और 3rd AC में अंतर के बारे में कम जानकारी होती है।
ऐसे में आज के इस पोस्ट में हम भारतीय रेल के 1st AC, 2nd AC और 3rd AC में मिलने वाली सुविधाएँ और उसके बीच के अंतर को समझेंगे। तो चलिए जानते है विस्तार से –
थर्ड एसी (Third AC)
थर्ड एसी कोच मीडिल क्लास भारतीयों की पहली पसंद है. बेहद सरल भाषा में कहा जाए तो ये कोच बिल्कुल स्लीपर क्लास की तरह होते हैं, बस स्लीपर क्लास वातानुकूलित नहीं होता है और ये कोच वातानुकूलित होते हैं।
स्लीपर की तरह ही प्रत्येक कम्पार्टमेंट में कुल 8 सीटें होती हैं। लोवर बर्थ के बैकरेस्ट को ऊपर उठाकर मिडिल सीट बनाई जाती है. थर्ड एसी में सफर के दौरान तकिया, कंबल और चादर दिया जाता है। कोच के खिड़कियों पर पर्दे लगे होते हैं।
सेकेंड एसी (Second AC)
भारतीय रेलवे का 2nd AC कोच 1st AC से सस्ता है और 3rd AC से महंगा. इसमें सुविधाएं भी थर्ड एसी के मुकाबले अधिक हैं और फर्स्ट एसी के मुकाबले कम।
सबसे पहला अंतर यह होता है कि इसमें कोई मिडिल बर्थ नहीं होती है, हालांकि साइड अपर और लोवर सीट होती हैं। इस तरह प्रत्येक कम्पार्टमेंट में 6 सीटें होती हैं।
कम सीट होने की वजह से यह कोच एसी थर्ड क्लास के मुकाबले कम भीड़-भाड़ वाले होते हैं, प्रत्येक कम्पार्टमेंट में पर्दे लगे होते हैं और सीट बेहद सुविधाजनक होती हैं। यात्रियों को तकिया, चादर और कंबल दिया जाता है साथ ही प्रत्येक बर्थ में एक रीडिंग लैंप भी होता है।
फर्स्ट एसी (1A)
तो भैया यह है फर्स्ट एसी क्लास माने भारतीय रेलवे की सबसे महंगी श्रेणी। इसके प्रत्येक कम्पार्टमेंट में 2 या 4 बर्थ होती हैं। 2 बर्थ वाले कम्पार्टमेंट को कूप (coupe) और 4 बर्थ वाले कम्पार्टमेंट केबिन (cabin) कहते हैं।
प्रत्येक कम्पार्टमेंट में एक दरवाजा होता है, जिसे यात्री अंदर से बंद कर सकते हैं. फर्स्ट एसी में साइट अपर या साइड लोवर बर्थ नहीं होती हैं. प्रत्येक यात्री के लिए एक डस्टबिन और एक छोटी टेबल होती है।
राजधानी जैसी रेलगाड़ियों में यात्रियों को विशेष प्लेट और कटोरियों में खाना दिया जाता है और खाने का मीनू 2nd AC और 3rd AC क्लास से अलग होता है. ट्रेन में अटेंडेंट को बुलाने के लिए प्रत्येक कम्पार्टमेंट में एक खास बटन होता है. सीट बेहद सुविधाजनक होती है।
इनके अलावा भारतीय रेलवे फर्स्ट क्लास, एसी एक्जीक्यूटिव क्लास, थर्ड एसी इकनॉमी क्लास, एसी चेयर कार और सेकेंड सीटिंग कोच का संचालन भी करती है।